देहरादून, 3 जून 2025: उत्तराखंड की राजधानी देहरादून में आठ साल पहले हुए सनसनीखेज दोहरे हत्याकांड में अदालत ने सोमवार शाम ऐतिहासिक फैसला सुनाया। प्रथम अपर सत्र न्यायाधीश महेश चंद्र की अदालत ने दीपिका और उसके प्रेमी योगेश अरोड़ा को पति और ससुर की निर्मम हत्या के मामले में कठोर आजीवन कारावास की सजा सुनाई।
कोर्ट ने दोनों दोषियों पर ₹55,000-₹55,000 का जुर्माना लगाया है और मृतक राजेश राणा के बेटे को ₹1 लाख मुआवजा देने के आदेश दिए हैं। यदि मुआवजा नहीं दिया गया तो दोषियों की संपत्ति कुर्क कर राशि वसूलने का आदेश जिलाधिकारी को दिया गया है।
क्या है मामला
5 मार्च 2017 को डोईवाला क्षेत्र में हरिद्वार हाईवे पर एक लावारिस कार से दो शव बरामद हुए थे। जांच में पता चला कि यह शव रायपुर निवासी राजेश राणा और उनके पिता प्रेम सिंह के हैं। कार उनकी पत्नी दीपिका के नाम पर पंजीकृत थी।
शुरुआती पूछताछ और मोबाइल सर्विलांस के बाद पुलिस को दीपिका पर शक हुआ। पूछताछ में दीपिका ने चौंकाने वाला खुलासा किया — उसने अपने प्रेमी योगेश अरोड़ा के साथ मिलकर पति और ससुर की हत्या की थी।
हत्या की साजिश और वारदात का तरीका
दीपिका का योगेश से प्रेम-प्रसंग चल रहा था, जिसकी जानकारी उसके पति को हो गई थी। इस पर दीपिका ने उसे रास्ते से हटाने की योजना बनाई। 4 मार्च 2017 की रात योगेश पीछे के दरवाजे से घर में घुसा और दोनों ने मिलकर बेडरूम में ही राजेश और प्रेम सिंह की गला घोंटकर व चाकू से गोदकर हत्या कर दी।
शवों को चादर में लपेटकर कार में डाल दिया गया और कुआंवाला के पास ले जाकर कार को जलाने का प्रयास किया गया, लेकिन विफल रहे।
बेटे की गवाही बनी निर्णायक
हत्या के समय दीपिका और राजेश का 8 वर्षीय बेटा नकुल घर पर ही मौजूद था। उसी की गवाही कोर्ट में निर्णायक साबित हुई। केस में अभियोजन पक्ष ने 21 गवाह और 75 भौतिक साक्ष्य पेश किए। दोनों आरोपी खुद को निर्दोष बताते रहे, लेकिन अदालत ने उनके बयानों को खारिज कर दिया।
सरकारी वकील का बया
सरकारी वकील अरविंद कपिल ने बताया कि आठ साल पुराने इस केस में न्याय की जीत हुई है। अदालत ने सभी साक्ष्यों को ध्यान में रखते हुए दोनों दोषियों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई।